विसुनपुरा: अमहर खास पंचायत की स्थिति है बदहाल, कीचड़ युक्त सड़क पर चलकर स्कूल जाने को मजबूर बच्चे

विशुनपुरा(गढ़वा)/राजु सिंह


विशुनपुरा प्रखंड अंतर्गत अमहर गांव की बदहाल स्थिति देखकर आप विकास कि स्थिति लगा सकते हैं। गांव की पहचान विकास से नही बल्कि सड़कों की खस्ताहाल स्थिति से होने लगी है। अमहरखास पंचायत अंतर्गत पचफेड़ी टोला की सड़कों को देख कर इसका अंदाजा लगाया जा सकता है. कि सरकार सिर्फ विकास के बड़े-बड़े दावे कर रही है, लेकिन जमीनी हकीकत सरकार के विकास के दावे के ठीक उलट है।
अमहरखास पंचायत में रमना-विशुनपुरा मुख्य पथ से उपस्वास्थ्य केंद्र होते हुए नवप्राथमिक विद्यालय पचफेड़ी टोला अमहर तक जाने वाली कच्ची सड़क कीचड़ में तब्दील हो गयी है। इस विद्यालय के शिक्षक कीचड़युक्त सड़क पर हाथों में चपल लिए 1 किलोमीटर दूरी तय कर पैदल विद्यालय जाने को मजबूर है। कीचड़युक्त सड़क पर शिक्षक व बच्चे विद्यालय जाने के दौरान फिसल कर गिर भी जाते है। इस विद्यालय में 45 बच्चे व दो शिक्षक बरसात में कीचड़ में तब्दील सड़क पर चलने को मजबूर हैं।
जिसके कारण छात्र-छात्राएं काफी परेशान हैं। वहीं विद्यालय के प्रभारी प्रधानाध्याक अनिल कुमार ने बताया की विद्यालय जाने वाली सड़क हल्की बारिश में कीचड़ में तब्दील हो गयी है। उन्होंने बताया कि हमारे साथ एक सहयोगी शिक्षक सतेंद्र यादव नियुक्त है, जो इस कीचड़ से सने रास्ते से विद्यालय जाने के लिए मजबूर है। उन्होंने बताया कि विद्यालय जाने के लिए एक मात्र यही सड़क है। कई बार इस सड़क से आवागमन करने पर कीचड़ में गिर कर घायल भी हो गए है। उन्होंने बताया कि विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों से लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों तक इस मामले की जानकारी दी है, लेकिन आज तक किसी ने पहल नही किया।
विद्यालय के छात्र-छात्राएं जिलाधिकारी से सड़क निर्माण की मांग कर रहे हैं। वे कहते हैं कि सरकार एक ओर आबादी वाले टोलों को सड़क उपलब्ध कराने की बात करती है, तो दूसरी ओर विद्यालय में प्रतिदिन आने-जाने वाले विद्यार्थियों को एक अदद अच्छी सड़क भी उपलब्ध नहीं करायी है। इस टोले पर लगभग 60 घर के चार सौ लोग रहते है। यहाँ के लोगो का मुख्य बाजार विशुनपुरा है। जिन्हें इसी रास्ते से होते हुए विशुनपुरा आना पड़ता है। इस टोले के ग्रामीणों को बारिस के दिनों में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।

सरकारी स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों को सरकार दे रही सुविधा

सूबे की हेमन्त सरकार ने सरकारी स्कूलों को शिक्षा स्तर सुधारने के लिए काफी प्रयास कर रही हैं। जिसके तहत बच्चों को निशुल्क पुस्तक, साइकिल, ड्रेस और भोजन और बच्चियों को सुकन्या योजना तक कि लाभ दे रही है। इतना ही नहीं सरकार ने सरकारी स्कूल भवन में बिजली की व्यवस्था कराई है। वहीं बच्चों को स्कूल तक पहुंचने में किसी तरह की असुविधा न हो इसके लिए सड़क निर्माण करने के निर्देश भी दिए है। फिर भी कई स्कूलों में बच्चों को आने जाने के लिए रास्ते का निर्माण नहीं होना चिंतनीय है।

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वही इस रास्ते मे उपस्वास्थ्य केंद्र अमहर भी पड़ता है। उपस्वास्थ्य केंद्र आनेजाने वाले लोगो को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। बीमार व्यक्ति को इलाज कराने के लिए उपस्वास्थ्य केंद्र जाना काफी दुर्लभ हो गया है। बरसात के दिनों में सड़क कीचड़ में तब्दील हो जाने से बीमार व्यक्ति बिना इलाज कराए भी रह जाते है। इस कीचड़युक्त सड़क पर चलने में गिर जाने से लोग भयभीत रहते है।

इस सम्बंध में पूछे जाने पर अमहरखास पंचायत के मुखिया ललित नारायण सिंह ने बताया कि अभी कोई फंड नही है।सड़क बनना बहुत जरूरी है।

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